परीक्षा केन्द्रों से 100 गज की दूरी के अंदर किसी अनाधिकृत व्यक्ति का प्रवेश रहेगा वर्जित |
आगर मालवा
जिले में ध्वनि विस्तारक यंत्रों का उपयोग निर्धारित ध्वनि सीमा में ही करना होगा, एसडीएम से लेना होगी अनुमति
जिला दण्डाधिकारी सिंह द्वारा बोर्ड परीक्षाओं के मद्देनजर प्रतिबंधात्मक आदेश जारी
जिला दण्डाधिकारी राघवेन्द्र सिंह द्वारा जिले में बोर्ड परीक्षाओं की पवित्रता एवं विश्वसनीयता सुनिश्चित करने के साथ ही परीक्षाओं की तैयारी हेतु विद्यार्थियों के लिए अनुकूल वातावरण निर्मित करने हेतु भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता 2023 की धारा 163 के अन्तर्गत ध्वनि विस्तारक यंत्रों के उपयोग एवं कानून व्यवस्था बनाएं रखने हेतु सम्पूर्ण आगर-मालवा जिले में 17 फरवरी से 25 मार्च 2025 तक के लिए प्रतिबंधात्मक आदेश जारी किया गया है।
जारी आदेशानुसार परीक्षा प्रारंभ होने के दो घण्टे पूर्व से लेकर परीक्षा समाप्त होने तक परीक्षा केन्द्रों से 100 गज की दुरी के अंदर किसी अनाधिकृत व्यक्ति का प्रवेश तथा अवांछनिय गतिविधि पूर्णतः प्रतिबंधित रहेगी। मध्यप्रदेश कोलाहल नियंत्रण अधिनियम 1985 तथा ध्वनि प्रदूषण (विनियमन और नियंत्रण) नियम, 2000 यथा संशोधित के नियम 3(1) तथा 4(1) के अनुसार इन्डस्ट्रीज एरिया में दिन में 75 डेसिबल में, रात में 70 डेसिबल में, कमर्शियल एरिया में दिन में 65 डीबी एवं रात में 55 डीबी, रेसिडेंटल क्षेत्र में दिन में 55 डीबी एवं रात में 45 डीबी, साईलेंस जोन में दिन में 50 डीबी एवं रात में 40 डीबी अनुमत्य है, ध्वनि सीमा के अन्तर्गत ध्वनि मानकों के प्रावधानों का पालन करते हुए सामान्यतः ध्वनि विस्तारक यंत्रों के प्रयोग की अनुमति होगी, डीजे व लाउडस्पीकर का उपयोग निर्धारित ध्वनि सीमा में करने हेतु विधिवत अनुमति अनुविभागीय दण्डाधिकारियों से प्राप्त करना होगी।
किसी भी संस्था/व्यक्ति द्वारा मध्यप्रदेश कोलाहल नियंत्रण अधिनियम 1985 एवं ध्वनि प्रदूषण (विनियमन और नियंत्रण) नियम, 2000 यथा संशोधित के प्रावधानों का पालन करते हुए ही ध्वनि विस्तारक यंत्र/लाउडस्पीकर/डीजे का प्रयोग किया जा सकेगा। ऐसे कार्यकम जिनमें नियमों का पालन न करते हुए डीजे या ध्वनि विस्तारक यंत्रों का अनियंत्रित रूप में प्रयोग किया जाता है, उनके आयोजकों के विरुद्ध नियमानुसार विधिक कार्यवाही सुनिश्चित की जाएगी। प्रभावशील अवधि में आदेश का उल्लंघन भारतीय न्याय संहिता 2023 की धारा 223 एवं अन्य सुसंगत विधिक प्रावधानों के अन्तर्गत दण्डनीय होगा।